भाजपा मंडल अध्यक्षों की नियुक्ति को लेकर विरोध के स्वर

0 नहीं बन पा रहा आपसी समन्वय
0 चुनाव प्रक्रिया से चुने गए कई मंडल अध्यक्ष
*बसंत शर्मा, संवाददाता*
*राजनांदगांव* . जिला भारतीय जनता पार्टी राजनांदगांव द्वारा अपने बीस मंडल अध्यक्षों की नियुक्ति का दौर शुरू कर दिया है. जिसे 5 नवंबर तक पूरा कर दिया जाना है. लेकिन कई मंडल अध्यक्षों की नियुक्ति को लेकर विरोध के स्वर सामने आ रहे है. जिससे साफ जाहिर हो रहा है भाजपा की सत्ता जाते ही कार्यकर्ता बिखर रहे है और 15 साल की भड़ास निकाल रहे है.
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार भारतीय जनता पार्टी राजनांदगांव द्वारा मंडल अध्यक्षों की नियुक्ति को लेकर चल रही प्रक्रिया अब विवादों में दिख रही है. एलबी नगर, डोंगरगांव, छुईखदान सहित अन्य मंडलों में नियुक्त किए गए मंडल अध्यक्षों के खिलाफ विरोध के स्वर सामने आ रहे है. डोंगरगांव मंडल के सदस्यों ने तो बकायदा लिखित शिकायत करते हुए कहा है कि जिस तरह से अध्यक्ष का चुनाव किया गया है. वह पूरी तरह गलत है. डोंगरगांव में ही मंडल अध्यक्ष का नाम घोषित कर देना था. लेकिन राजनांदगांव मुख्यालय में आकर नाम की घोषणा करना समझ से परे है. वहीं एलबी नगर में भी विवाद की स्थिति देखने को मिल रही है. वहां के 80 बूथ प्रभारियों ने खुले रूप से बोधीराम साहू का विरोध किया है. तो छुईखदान में अधिक मतों से विजयी हुए प्रेम नारायण चंद्रकार को मंडल अध्यक्ष बनाया गया है. लेकिन हाईकमान नहीं चाहता था कि प्रेम नारायण चंद्राकर मंडल अध्यक्ष बने. स्थानीय नेताओं के दबाव के चलते मजबूरी में प्रेम नारायण चंद्राकार के नाम की घोषणा करनी पड़ी.
*जिन्होंने किया विरोध वहीं कर रहे समर्थन*
विगत दिनों हुए कोर ग्रुप की बैठक में जब भाजपा हाईकमान द्वारा यह कहा गया था कि सभी मंडल अध्यक्षों की घोषणा जिला मुख्यालय राजनांदगांव में करनी है, तो उसका विरोध कुछ स्थानीय नेताओं द्वारा किया गया था. अब डोंगरगांव में विरोध के स्वर सामने आए तो कोर ग्रुप की बैठक में जिन नेताओं ने विरोध किया था, वे अब समर्थन कर मंडल अध्यक्ष की नियुक्ति पर ही सवाल उठा रहे है.

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